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पंचायत-निकाय चुनाव से पहले BJP का मास्टर प्लान! CM भजनलाल ने बनाई टिकट बंटवारे की खास रणनीति, जानें इनसाइड रिपोर्ट

By Shravan Kumar Oad

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जयपुर।
राजस्थान में पंचायत और निकाय चुनाव नजदीक आते ही बीजेपी ने अपनी तैयारियां तेज कर दी हैं। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने सोमवार को अपने आवास पर आयोजित विधायक-सांसद संवाद बैठक में साफ कर दिया कि इस बार टिकट बंटवारे में समझौता नहीं होगा। केवल संगठन के प्रति वफादार और मेहनती कार्यकर्ताओं को ही मौका मिलेगा।

बैठक में मुख्यमंत्री ने सत्ता और संगठन के बीच बेहतर तालमेल, चुनावी रणनीति और विपक्ष से मुकाबले के लिए खास रोडमैप पर चर्चा की।

“शिकायतें खत्म, अब सिर्फ काम” – CM का सख्त संदेश

बैठक में मुख्यमंत्री भजनलाल ने पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं को साफ संदेश दिया –
“अब शिकायतें और मनमुटाव का वक्त खत्म हो चुका है। हर स्तर पर केवल काम और जनता तक पहुंच बनाने पर ध्यान देना होगा।”

उन्होंने कहा कि जनता के बीच बीजेपी की ताकत सिर्फ और सिर्फ एकजुटता से बढ़ेगी।

विपक्ष से लड़ाई का मंत्र – योजनाओं को हथियार बनाएगी BJP

मुख्यमंत्री ने विपक्ष के आरोपों का जवाब देने के लिए सरकार की योजनाओं को सबसे बड़ा हथियार बताया।

🔹 जल जीवन मिशन – गांव-गांव तक पेयजल पहुंचाना
🔹 मुफ्त बिजली योजना – आम आदमी को राहत देना
🔹 राम जल सेतु लिंक प्रोजेक्ट – राजस्थान में जल संकट का स्थायी समाधान

भजनलाल शर्मा ने कहा कि इन योजनाओं को सिर्फ कागजों तक सीमित न रखा जाए, बल्कि इनके फायदे को जनता तक सीधे और जोरदार तरीके से पहुंचाया जाए।

पंचायत और निकाय चुनाव: टिकट पर सख्त नियम

बैठक का सबसे अहम एजेंडा था आगामी पंचायत और निकाय चुनाव।
CM ने साफ कहा –
“ये चुनाव सिर्फ जीत के लिए नहीं, बल्कि संगठन को गांव-गांव मजबूत करने का सुनहरा मौका हैं। टिकट उसी को मिलेगा जो संगठन के साथ ईमानदारी से जुड़ा है और जनता के बीच सक्रिय है।”

इसके लिए कार्यकर्ताओं को जनता से लगातार जुड़े रहने और पार्टी की नीतियों को सरल भाषा में लोगों तक पहुंचाने के निर्देश दिए गए।

छोटे समूह, बड़ी जिम्मेदारी

बैठक को प्रभावी बनाने के लिए नेताओं को छोटे-छोटे समूहों में बांटा गया। हर समूह की जिम्मेदारी एक वरिष्ठ नेता को दी गई, ताकि काम का बंटवारा और मॉनिटरिंग सही ढंग से हो सके।

साथ ही, विधायकों को अपने-अपने क्षेत्रों की जर्जर स्कूल भवनों की लिस्ट बनाने और सरकार को सौंपने का टास्क दिया गया।

“कार्यकर्ता ही पार्टी की रीढ़” – मदन राठौड़

बैठक की शुरुआत बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़ के संबोधन से हुई। उन्होंने कहा –
“भाजपा का हर कार्यकर्ता संगठन की रीढ़ है। संगठन मजबूत होगा तो सत्ता भी स्थिर रहेगी।”

इसके बाद विभिन्न जिलों के अध्यक्षों ने अपनी-अपनी रिपोर्ट दी। जिन क्षेत्रों में पार्टी कमजोर है, वहां को मजबूत करने की अलग रणनीति बनाने पर भी सहमति बनी।

साफ है कि बीजेपी इस बार चुनाव को सिर्फ सत्ता की लड़ाई नहीं, बल्कि गांव-गांव में संगठन की पकड़ मजबूत करने का अभियान मान रही है। अब देखना होगा कि भजनलाल की ये रणनीति टिकट बंटवारे से लेकर चुनावी नतीजों तक कितनी कारगर साबित होती है।

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