JALORE NEWS हर मां अपनी बेटी को सक्षम एवं संस्कारयुक्त बनायें-आचार्य
![]() |
Every-mother-should-make-herg-daughter-capable-and-cultured-Acharya |
JALORE NEWS हर मां अपनी बेटी को सक्षम एवं संस्कारयुक्त बनायें-आचार्य
जालोर ( 14 जुलाई 2023 ) JALORE NEWS श्री नंदीश्वर द्वीप में भंडारी परिवार द्वारा आयोजित चातुर्मास के तहत शुक्रवार को आचार्य विजय हार्दिक रत्न सूरिश्वर जी ने धर्म सभा को संबोधित करते हुए परिवार और रिश्तो को बचाने की सीख दी।
आध्यात्मिक चातुर्मास समिति के मीडिया प्रभारी हीराचन्द भण्डारी ने बताया कि आचार्य श्री ने कहा कि आदि युग से अनेक ज्ञानी भगवंतो ने हमें प्रेम और सौहार्द से रहने की नसीहत दी है। उन्होंने लोहे और सोने का दृष्टांत सुनाते हुए परिवार और अपनों के बीच रिश्तो में बढ़ रही दरार को देश और समाज के लिए घातक बताया। उन्होंने कहा कि विवाद को समय रहते सुलझा लेना चाहिए। किसी भी विवाद को यदि बढ़ाया जाए तो एक दिन महाभारत होते देर नहीं लगती। इसलिए झगड़े को तूल नहीं देना चाहिए। आपस में मिल बैठकर सुलझा देना चाहिए। बेटी जब ससुराल चली जाए तो माँ को कम से कम दो वर्ष तक फोन पर बात कम करनी चाहिए जिससे बेटी ससुराल की बात पीहर में न कर सके जिससे बेटी का घर स्वर्ग बन सके।
घर में अधिकांश झगडे़ माँ बेटी के बातों से होते है इसलिये माँ को बेटी से ज्यादा बात नहीं करनी चाहिए
आचार्य श्री ने पारिवारिक रिश्तो को बचाने की आवश्यकता जताते हुए कहा कि बेटी जब ससुराल चली जाए तो परिवार वालों को उसके बारे में निश्चिंत हो जाना चाहिए। बेटी की मां को ससुराल पक्ष के बारे में कम से कम सलाह देनी चाहिए। मां यदि बेटी के ससुराल के मामलों में हस्तक्षेप करने लगेगी तो बेटी की मुश्किले बढ़नी ही है। बेटी को अपने परिवार के मामलों में निर्णय लेने के लिए स्वतंत्र छोड़ देना चाहिए ।बेटी खुद ही अपना परिवार संभाल लेगी।
उपस्थित मातृशक्ति से आचार्य श्री ने आह्वान किया कि वो अपनी बेटियों को समझदार सक्षम और संस्कारवान बनाएं। उन्हें पुरातन भारत की अनेक आदर्श महिलाओं के जीवन चरित्र से परिचित कराएं। रानी पद्मिनी, अहिल्या, माता सीता ,चंदनबाला जैसे आदर्श चरित्र को अपने जीवन में आत्मसात करने के लिए प्रेरणा देनी चाहिए। बेटियां कमजोर नहीं होती।उनका हौंसला बढ़ाया जाए तो वो समाज में सुखद परिवर्तन ला सकती है।
धर्म सभा को मुनिराज श्री आनंद मंगल विजय जी ने संबोधित करते हुए कहा कि प्रभु भक्ति करने एवं सुअवसर का लाभ लेने में कभी पीछे नहीं रहना चाहिए। धार्मिक कार्यों में सदैव अग्रणी भूमिका में रहना चाहिए धर्मसभा में रमेश जैन,रमेश बोहरा, कान्तिलाल भण्डारी , देवेन्द्र मेहता, ताराचन्द व विधिकारक अरविन्द गुरूजी इत्यादि सैकड़ों श्रावक व श्राविकाएँ उपस्थित थी।
JALORE NEWS
खबर और विज्ञापन के लिए सम्पर्क करें
एक टिप्पणी भेजें