PALI NEWS नवजात को झाड़ियों में फेंका : रोने की आवाज सुन लोगों ने बच्ची को बचाकर गले लगाया
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PALI NEWS नवजात को झाड़ियों में फेंका : रोने की आवाज सुन लोगों ने बच्ची को बचाकर गले लगाया
पाली ( 12 जुलाई 2023 ) PALI NEWS कहते है बच्चे भगवान का रूप हैं और बेटी साक्षात लक्ष्मी का अवतार... लेकिन, पाली शहर में एक बार फिर ममता को शर्मसार करने वाली घटना हुई। नवजात बच्ची को जन्म देने के बाद उसकी मां उसे मरने के लिए झाडियों में फेंक गई, कहते हैं मारने वाले से बचाने वाला बड़ा होता है तो हुआ भी यही। झाड़ियों में पड़ी नवजात को लोगों ने देखा और उसे गले लगाकर अस्पताल में भर्ती करवाया, जहां उसका उपचार चल रहा है।
दरअसल, हाउसिंग बोर्ड क्षेत्र के साईं बाबा मंदिर के निकट सरकारी आवासीय कॉलोनी के लोगों ने हाउसिंग बोर्ड पुलिस चौकी को सूचना दी कि एक नवजात बच्ची झाडि़यों में पड़ी है। इसके बाद नवजात बच्ची को 108 एम्बुलेंस की सहायता से बांगड़ अस्पताल के मातृ शिशु स्वास्थ्य केन्द्र पहुंचा गया। चिकित्सकों ने उसे एनआईसीयू वार्ड में भर्ती कर उपचार शुरू किया। जहां उसका उपचार जारी है। मौके पर पहुंची पुलिस ने जांच करते हुए नवजात बच्ची के परिजनों की तलाश शुरू कर दी।
नवजात बच्ची के रोने की आवाज सुनकर जमा हुए लोग
विकू पत्नी राजेन्द्र ने बताया कि सरकारी आवासीय कॉलोनी में बने मकानों के पीछे झाडि़यों में एक बच्ची के रोने की आवाज आई। जिस पर कॉलोनी के लोग जमा हो गए। लोगों ने झाडियों से बच्ची को निकालकर गोद में लिया और उसे गले लगाकर दुलारा। जिसके बाद पुलिस को सूचना देकर उसे बांगड़ अस्पताल पहुंचाया।
चिकित्सक करते रहे आनाकानी
नवजात बच्ची को 108 एम्बुलेंस से बांगड़ अस्पताल के मातृ शिशु स्वास्थ्य केन्द्र लाया गया। जहां पर मौजूद चिकित्सक ने कहा कि मेरी ड्यूटी खत्म हो गई है। दूसरे चिकित्सक आने पर भर्ती करेंगे। चिकित्सक के आनाकानी करने से नाराज लोगों ने चिकित्सका अधिकारी से मोबाइल पर बात की। इसके कुछ देर बाद नवजात को एनआईसीयू वार्ड में भर्ती किया गया।
घर पर ही हुआ है जन्म...
नवजात का उपचार कर रहे चिकित्सकों के अनुसार अब वह स्वस्थ है। डॉ आरके विश्नोई के अनुसार, उसका वजन दो किलो 200 ग्राम है, जिसके शरीर पर किसी अस्पताल का टैग लगा हुआ नहीं होने से लगता है कि प्रसूता ने बच्ची को अपने घर जन्म घर पर ही जन्म दिया है।
जान भी जा सकती थी नवजात की...
नवजात को लावारिस छोड़ने के तुरन्त बाद यदि उस पर किसी की नजर नहीं पड़ती तो यहां घूम रहे श्वान उसे अपना भोजन भी बना सकते थे। गनीमत यह रही कि उसकी आवाज सुनकर फ्लैट में रहने वाली महिलाएं समय रहते वहां पहुंच गई और उसे वहां से हटा लिया, और तो और बालिका को समय पर मेडिकल एड भी मिल गई, अन्यथा उसकी जान भी जा सकती थी।
पुलिस ने नवजात को पहुंचाया अस्पताल...
इस सूचना पर औद्योगिक थाने से हेड कांस्टेबल जोगेन्द्र मौके पर पहुंचे और नवजात को बांगड़ अस्पताल पहुंचाया। जहां उसे एनआईसीयू वार्ड में भर्ती तुरन्त भर्ती कर उसका उपचार प्रारंभ किया गया। बांगड़ अस्पताल में नवजात को ले जाने पर वहां नियुक्त डॉक्टर रणजीत राजू, अमित शर्मा की देखरेख नर्सिंग स्टॉफ भावना सेजू, आकाश जोशी, राजेश भाटी, प्रकाश चौहान ने मासूम का उपचार शुरू किया, जिसके चलते अब नवजात खतरे से बाहर है।
JALORE NEWS
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